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चिकित्सा विभाग ने दी हिदायत, 26 अक्टूबर को मनाए सूखा दिवस

26 अक्टूबर रविवार को मनाए सूखा दिवस  

घर में कूलर, परिंडों, गमलों, फ्रीज की ट्रे में जमा पानी की साफ-सफाई कर पनप रहे मच्छर के लार्वा को करें नष्ट

डिप्टी सीएमएचओ डॉ. अखिलेश शर्मा ने गांव रतनपुरा में अनेक घरों में की जांच

हनुमानगढ़। मच्छर केवल घरों के बाहर नहीं होते, बल्कि आपके और हमारे घरों के अंदर भी पैदा हो रहे हैं। हमें बाहरी मच्छरों की बजाए अपने घर के अंदर पैदा होने वाले मच्छरों के प्रजनन से रोकने के लिए तैयार रहना होगा, क्योंकि घरों के अंदर पनप रहा मच्छर भी डेंगू, मलेरिया, चिकनगुनिया जैसी बीमारियां फैला रहे हैं। हमें कल रविवार 26 अक्टूबर को अपने-अपने घरों में ठहरे हुए पानी को नष्ट करना होगा। क्योंकि मौसम बदलने के साथ ही इस ठहरे हुए पानी में ही मच्छरों को प्रजनन के लिए अनुकूल वातावरण मिल रहा है। इसी पानी में पैदा हुए मच्छर हमारे परिजनों को बीमार कर रहे हैं।

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. नवनीत शर्मा ने बताया कि हमें मौसमी बीमारियों के चलते हमें अपने घरों में रूके हुए पानी को नष्ट करना होगा। उन्होंने कहा कि कल रविवार 26 अक्टूबर को हम अपने घरों की साफ-सफाई कर जमा पानी को नष्ट करें ताकि घर में पनप रहे लार्वा को मच्छर बनने से पहले ही खत्म किया जा सके। उन्होंने बताया कि हमारे घर में अनेक स्थान ऐसे होते हैं, जहां पर मच्छर प्रजनन के लिए अनुकूल वातावरण चुनकर वहां अण्डे देते हैं, जो मच्छर बनकर डेंगू, मलेरिया एवं चिकनगुनिया जैसी बीमारियां पैदा करते हैं। डॉ. शर्मा ने बताया कि हमारे घरों के स्नानघर और शौचालय में मच्छर आसानी से अपनी संख्या बढ़ा सकते हैं, क्योकि यह क्षेत्र हमेशा नमी से भरा रहता है और यहां पानी भी रुका हुआ होता है। स्नानघर में कहीं पर भी पानी जमा ना होने दें और गीले कपड़ों को भी स्नानघर मे ना सुखाएं। नियमित रूप से फिनाइल से स्नानघर और शौचालय की सॉफ सफाई करें। फ्रीज की ट्रे को भी नियमित रूप से साफ करें, क्योंकि वहां पर भी लार्वा पाया जाता है। कई बार हम कूलर का पानी खाली करना और कूलर के उपयोग ना होने पर उसे साफ करना भूल जाते है, जिससे कूलर में एकत्रित पानी में मच्छर प्रजनन हो जातें हैं। कूलर के उपयोग में ना आने पर उसका पानी गिराकर नष्ट कर दें एवं कूलर के पैड्स को धूप में सूखा के रखें। पेड़-पौधों को दिया हुआ पानी कई बार इक_ा हो जाता है, जो मच्छरों का घर बन जाता है। बगीचे से अनावश्यक वस्तुओं और कचरे को हटा दें। परिण्डों एवं अन्य जगह में पानी को स्थिर होने से रोकें। इसके अलावा पशुओं के पीने के लिए रखें कुण्ड की नियमित साफ-सफाई करें। क्योंकि वहां पर भी मच्छरों को प्रजनन के लिए अनुकूल वातवरण मिलता है।

गांव रतनपुरा में अनेक घरों की जांच

डिप्टी सीएमएचओ डॉ. अखिलेश शर्मा ने खण्ड नोहर के गांव रतनपुरा में अनेक घरों की जांच की। उन्होंने घर-घर सर्वे के दौरान स्वास्थ्यकर्मियों द्वारा किए गए कार्यों का क्रॉस वैरिफिकेशन भी किया। स्वास्थ्यकर्मियों ने बताया कि मंदिरों में नियमित रूप से एनाउसमेंट, फोगिंग एवं ग्राम पंचायत द्वारा सफाई करवाई जा रही है। इसके अलावा नियमित रूप से घरों का सर्वे, एंटीलॉर्वल एक्टीविटी एवं स्वास्थ्य शिक्षा दी जा रही है। डिप्टी सीएमएचओ डॉ. अखिलेश शर्मा ने ग्रामीणों को जानकारी दी कि मच्छरोधी बीमारियों से बचाव के लिए पूरी बांह की शर्ट, जूते, जुराबें और फुल पैंट पहनें। खासकर बच्चों के लिए इस बात का जरूर ध्यान रखें। मच्छर गाढ़े रंग की तरफ आकर्षित होते हैं, इसलिए हल्के रंग के कपड़े पहनें। तेज महक वाली परफ्यूम लगाने से बचें क्योंकि मच्छर किसी भी तरह की तेज महक की तरफ आकर्षित होते हैं। कमरे में मच्छर भगाने वाले स्प्रे, मैट्स, कॉइल्स आदि का प्रयोग करें। मस्किटो रेपलेंट को जलाते समय सावधानी बरतें। इन्हें जलाकर कमरे को एक-दो घंटे के लिए बंद कर दें। रात को मच्छरदानी का उपयोग आवश्यक रूप से करें। स्वास्थ्यकर्मियों द्वारा नियमित रूप से एमएलओ, टेमीफॉस एवं घरों एवं छतों पर भरे बर्तन खाली करवाए जा रहे हैं। उनके साथ जसाना की मेडिकल ऑफिसर डॉ. हिमानी एवं आयुष्मान आरोग्य मंदिर सबसेंटर रतनपुरा का स्टॉफ भी उपस्थित रहा। डॉ. अखिलेश शर्मा ने बताया कि सम्भावित डेंगू केस की जानकारी स्वास्थ्य विभाग के कंट्रोल रूम नम्बर 01552-261190 पर दी जाए ताकि स्वास्थ्यकर्मियों द्वारा उनके घर में आवश्यक एंटीलॉर्वल एक्टीविटी की जा सके।

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